8/11/2016/ग्रेटर नोएडा। ग्रेटर नोएडा और दिल्ली के करीब 200 स्टूडेंट्स को नोएडा-ग्रेटर नोएडा एक्सप्रेसवे पर फिल्म की शूटिंग में शामिल होने का झांसा देकर फाइफा ने सोमवार से एक्सपो मार्ट में शुरू हुए डब्ल्यूएचओ एफसीटीसी कॉप-7 के खिलाफ मौन जूलूस निकालवा दिया। बगैर परमिशन के अचानक सैकड़ों की संख्या में स्टूडेंट और किसानों की भीड़ देखकर पुलिस के माथे पर पसीना आ गया। एक्सपोमार्ट के गेट पर पहुंच रही भीड़ को आनन-फानन में पुलिस ने रोक दिया और करीब 500 स्टूडेंट्स और किसानों को हिरासत में लेकर पुलिस लाइन भेज दिया गया। बताया जा रहा है कि फाइफा ने भीड़ जुटाने के लिए स्टूडेंट्स को फिल्म की शूटिंग में शामिल होने के बदले 300 रुपये, टी-शर्ट और खाना खिलाने का वादा किया था। सोमवार को कड़ी सुरक्षा के बीच एक्सपो मार्ट में डब्ल्यूएचओ एफसीटीसी कॉप-7 की शुरूआत हुई। कासना कोतवाली के इंचार्ज सुधीर कुमार त्यागी ने बताया कि फेडरेशन ऑफ ऑल इंडिया फार्मर असोसिएशन (फाइफा) के बैनर तले सुबह करीब 9 बजे सैकड़ों की संख्या में स्टूडेंट्स और किसानों की भीड़ एक्सपो मार्ट पहुंच गई। यह लोग 10 से 12 बसों में भर कर आए थे। पुलिस को किसी प्रदर्शन या जूलूस की कोई जानकारी नहीं थी और न तो फाइफा ने परमिश नही लिया था। सुधीर त्यागी का कहना है कि इस मौन जूलूस में काफी संख्या में स्टूडेंट्स थे। जिन्हें विरोध प्रदर्शन का मतलब ही नहीं पता था। दिल्ली और ग्रेटर नोएडा के एक कॉलेज से करीब 200 स्टूडेंट्स को लाया गया था। इन्हें नोएडा-ग्रेटर नोएडा एक्सप्रेसवे पर फिल्म की शूटिंग में शामिल होने का झांसा दिया गया था। इन स्टूडेंट्स को 300-300 रुपये, टी-शर्ट और खाना खिलाने का झांसा दिया गया था। स्टूडेंट्स से ही साइकिल भी किराए पर ली गई थी। करीब 500 लोगों को हिरासत में लेकर पुलिस लाइन भेज दिया गया था। शाम को सभी को रिहा कर दिया गया। इस मौन जूलूस में भारतीय किसानों के साथ तम्बाकू उगाने वाले 9 देशों के किसानों ने भी हिस्सा लिया। उन्होंने जूलूस में स्टूडेंट्स को पैसे का लालच देकर शामिल कराने के आरोप का खंडन किया है।