गाजियाबाद : जिला अस्पताल में आंखों की जांच कराने वाले मरीजों को विभागीय कर्मचारियों द्वारा कम कीमत में चश्मे दिए जा रहे हैं। इस प्रकार की शासन की कोई योजना तो नहीं है लेकिन कर्मचारी मरीजों की सुविधा के लिए इस तरह का काम कर रहे हैं। सीएमएस का कहना है कि इस संबंध में जांच कराकर शासन को प्रस्ताव भेजा जाएगा।
जिला एमएमजी अस्पताल के नेत्र विभाग में आंखों की जांच करने और नंबर देने के साथ चश्मे भी वितरित किए जा रहे हैं। फिलहाल यह काम बिना अनुमति के चल रहा है। आंखों की जांच करवाने वाले मरीजों को सस्ती दर पर चश्मे मुहैया करवाए जा रहे हैं। आंखों के चश्में बाजार में कम से कम 700 रुपए के मिलते हैं। जबकि इनका अधिकतम रेट पांच हजार रुपए तक होता है लेकिन, जिला एमएमजी अस्पताल के नेत्र रोग विभाग में लैब असिस्टेंट के कमरे से मरीजों को सस्ती दरों पर चश्मे दिए जा रहे हैं। इस संबंध में विभाग में तैनात कर्मचारियों ने नाम नहीं छापने की शर्त पर बताया कि अक्सर मरीज उनसे ही चश्मा बनवाने के लिए गुहार लगाते हैं। इस पर वे बाहर से चश्मा बनकर उन्हें देते हैं। इस तरह मरीजों को भटकना भी नहीं पड़ता और मरीजों को सस्ती दर पर चश्मा भी मिल जाता है। नेत्र विभाग से मरीजों को हरी पट्टी, लैंस और काला चश्मा दिया जाता है। यह उन मरीजों को दिया जाता है जिन्हें या तो मोतिया¨बद की शिकायत होती है या फिर उनका ऑपरेशन किया जाता है